बजट सत्र के दूसरे चरण का आज 11वां दिन है, और विपक्ष सरकार पर हमलावर नजर आ रहा है। कांग्रेस नेता और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने आरोप लगाया है कि उन्हें सदन में बोलने नहीं दिया जा रहा है। उन्होंने संसद के संचालन पर सवाल उठाते हुए इसे ‘अलोकतांत्रिक तरीके’ से चलाने का दावा किया।
राहुल गांधी ने कहा, “हम जो कहना चाहते हैं, कहने नहीं दिया जाता। विपक्ष के सवालों का जवाब नहीं मिलता। संसद केवल सरकार के लिए चलाई जा रही है।” उन्होंने यह भी कहा कि स्पीकर ओम बिरला ने उनकी बात नहीं सुनी और सदन को स्थगित कर दिया गया।
राहुल गांधी का बयान: ‘स्पीकर मेरी बात सुनने को तैयार नहीं’
राहुल गांधी ने संसद परिसर में पत्रकारों से बातचीत में कहा, “मुझे नहीं पता कि क्या हुआ। मैं खड़ा हुआ और कहा कि मुझे बोलने दीजिए, लेकिन स्पीकर एक शब्द नहीं बोले और घूमकर चले गए। इसके बाद हाउस को स्थगित कर दिया गया। मैंने कुछ नहीं किया, पूरी तरह शांति से बैठा था, फिर भी मुझे बोलने नहीं दिया गया।”
उन्होंने आगे कहा, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोकसभा में कुंभ मेले पर बयान दिया, मैं कहना चाहता था कि कुंभ बहुत अच्छा हुआ। मैं बेरोजगारी और महंगाई के मुद्दों पर बात करना चाहता था, लेकिन मुझे मौका ही नहीं दिया गया। यह स्पष्ट है कि विपक्ष को दबाने की रणनीति अपनाई जा रही है।”
राहुल गांधी ने मौजूदा सरकार पर विपक्ष को दरकिनार करने का आरोप लगाते हुए कहा, “लोकतंत्र में सरकार और विपक्ष दोनों की भूमिका होती है, लेकिन यहाँ विपक्ष की कोई जगह ही नहीं बची है।”
70 विपक्षी सांसदों ने स्पीकर से की मुलाकात
लोकसभा में हंगामे के बाद विपक्ष के 70 सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर विरोध जताया। उन्होंने आरोप लगाया कि संसद में विपक्ष की आवाज को लगातार दबाया जा रहा है और उनके सवालों का जवाब नहीं दिया जाता। विपक्षी दलों ने यह भी मांग की कि राहुल गांधी को बोलने की अनुमति दी जाए और विपक्ष की भूमिका को संसद में उचित स्थान दिया जाए।
फाइनेंस बिल 2025: ऑनलाइन विज्ञापन पर 6% डिजिटल टैक्स खत्म
इसी बीच, बजट सत्र में सरकार ने बड़ा फैसला लिया है। आज राज्यसभा में फाइनेंस बिल 2025 पेश किया जा सकता है। मंगलवार को यह बिल लोकसभा से पारित हो चुका है, जिसमें कुल 35 संशोधन किए गए हैं। इनमें सबसे बड़ा बदलाव यह है कि ऑनलाइन विज्ञापनों पर लगने वाला 6% डिजिटल टैक्स हटा दिया गया है।
सरकार के अनुसार, यह कदम डिजिटल कारोबार को बढ़ावा देने और स्टार्टअप्स को राहत देने के लिए उठाया गया है। बजट 2025-26 की कुल राशि 50.65 लाख करोड़ रुपये तय की गई है, जो पिछले साल के मुकाबले 7.4% ज्यादा है। इसमें केंद्र की योजनाओं के लिए 5.42 लाख करोड़ रुपये और राज्यों को दी जाने वाली कुल राशि 25.01 लाख करोड़ रुपये रखी गई है।
राजनीतिक समीकरणों पर असर
राहुल गांधी के इस आरोप के बाद संसदीय कार्यवाही में गतिरोध और बढ़ सकता है। विपक्षी दल इसे लोकतंत्र और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पर हमला बता रहे हैं, जबकि सरकार का कहना है कि विपक्ष जानबूझकर संसद की कार्यवाही में बाधा डाल रहा है।
आगामी आम चुनावों से पहले संसद में सत्ता और विपक्ष के बीच की खींचतान और बढ़ सकती है। देखना होगा कि इस गतिरोध को दूर करने के लिए क्या कदम उठाए जाते हैं और क्या स्पीकर विपक्ष की मांगों पर कोई निर्णय लेते हैं या नहीं।