हरियाणा के सिरसा में मंगलवार को तापमान 46.2 डिग्री तक पहुंच गया। जो सामान्य से करीब 5 डिग्री ज्यादा है। मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार 13 जून तक हालात ऐसे ही रहेंगे, कोई राहत नहीं दिख रही। लगातार बढ़ रहे पारे के कारण किसान चिंता में हैं। कृषि वैज्ञानिकों ने उन्हें सलाह दी है कि सुबह-शाम का वक्त चुनें, फसलों को पर्याप्त पानी दें, वरना सब्जियां भी पिघल जाएंगी।
दिल्ली-एनसीआर में भी हाल बेहाल
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली और उससे सटे नोएडा, गाजियाबाद, गुरुग्राम सब जगह सूरज अपनी पूरी ताकत में है। सुबह 10 बजे के बाद सड़कों पर चलना भी जोखिम जैसा महसूस हो रहा है। थार और बलूचिस्तान की ओर से आ रही शुष्क हवाओं ने वातावरण की नमी पूरी तरह खींच ली है।
हवा में नमी शून्य के करीब है। गर्मी शरीर पर सीधी चोट की तरह असर कर रही है।” भारतीय मौसम विभाग ने पूरे क्षेत्र में ऑरेंज अलर्ट जारी कर दिया है।
चार दिन बाद मिल सकती है राहत
तेज गर्मी के बीच 14 से 16 जून के बीच पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय हो सकता है। इससे कुछ जगहों पर अंधड़ चल सकते हैं, बूंदाबांदी हो सकती है। फिर 18 से 23 जून के बीच एक और सिस्टम उत्तर भारत के ऊपर असर डालेगा। इन दो बदलावों के कारण हवा का रुख बदलेगा, जिससे दिन के तापमान में गिरावट आएगी और लोगों को कुछ राहत मिल सकती है।
मानसून की रफ्तार और अनुमान
बंगाल की खाड़ी में 12 से 14 जून के बीच बनने वाला चक्रवाती परिसंचरण मानसून को नई ऊर्जा देगा। मौसम विभाग के मुताबिक, इससे मानसून की उत्तरी दिशा में प्रगति तेज होगी। महाराष्ट्र, गुजरात, बिहार, झारखंड से होते हुए यह पूर्वी उत्तर प्रदेश तक पहुंचेगा।
हरियाणा और दिल्ली-एनसीआर में इसके असर से जून के अंतिम सप्ताह में बारिश हो सकती है। विशेषज्ञों का आकलन है कि इस बार मानसून तय समय से कुछ दिन पहले दस्तक दे सकता है। यानी, गर्मी के इस दौर का अंत जल्द आने की संभावना है—लेकिन फिलहाल राहत दूर ही है।