कहते हैं कि इतिहास समय के प्रवाह में बहता हुआ ज्वार है—कभी शांत, कभी उग्र, किंतु सदैव स्मृतिवान। 11 जून वह क्षण है जब भाव और विषय एक-दूसरे को गले लगाते हैं। आज का दिन हमें एक ओर संत कबीर दास की आध्यात्मिक गहराईयों से रूबरू कराता है, तो दूसरी ओर स्वतंत्रता संग्राम के वीर, राम प्रसाद बिस्मिल, की जन्मशती पर देशभक्ति के जज्बे को पुनः जगाता है। इतिहास के इस स्मरण-तिथि में हम 1398 में बनारस में जन्मे कबीर की काव्य धारा और 1897 में क्रांतिकारी नेतृत्व का प्रतीक बने बिस्मिल के साहस पर विचार करते हैं।
कबीर दास, जिनकी जयंती 2025 में ज्येष्ठ पूर्णिमा पवित्र अवसर पर मनाई जाती है, अपने दोहों के माध्यम से सामाजिक भेदभाव को चुनौती देते थे और दीवारों को लांघकर मानवता का मंत्र दिया करते थे। वहीं, राम प्रसाद बिस्मिल का जन्म 11 जून 1897 को हुआ था; उनके साहस ने सशस्त्र क्रांति को ऊर्जा प्रदान की और आजादी के आंदोलन में एक अद्भुत अलंकार की तरह चमका।
इतिहास में आज का दिन केवल दो जन्मों तक सीमित नहीं है—यह दिन तकनीकी प्रगति, लोकतांत्रिक परिवर्तन, युद्ध और सांस्कृतिक धरोहरों की भी गवाही देता है। 11 जून 1935 को एडविन आर्मस्ट्रांग ने FM प्रसारण की इबारत लिखी, जबकि 1940 में द्वितीय विश्व युद्ध की सरगर्मी में इटली की हमलों ने यूरोप की तस्वीर बदल दी।
इन विविध घटकों को जब एक साथ देखा जाए तो यह दिन इतिहास में आज का दिन कैसा होता है—बहुआयामी, संदेशयुक्त, और प्रेरणादायक। चाहे वह आध्यात्मिकता हो, राष्ट्रवाद हो या वैज्ञानिक प्रगति, 11 जून हमें उन सबकी परतों में छिपे अर्थों को समझने और जोड़ने का अवसर देता है। इस लेख में हम गहराई से झांकेंगे—प्रमुख घटनाओं से लेकर उन हस्तियों तक जिन्होंने इस दिन को भारत के इतिहास में विशिष्ट बना दिया है।
प्रमुख घटनाएं
- कबीर दास जयंती (ज्येष्ठ पूर्णिमा): 11 जून 2025 को संत कबीर दास की जयंती के अवसर पर देश भर में कीर्तन, सत्संग और उनके अमर दोहों का पाठ होता है—उनका संदेश प्रेम, भक्ति और सामाजिक एकता का प्रतीक है।
- राम प्रसाद बिस्मिल का जन्म (1897): आज ही के दिन भारत के सशस्त्र आज़ादी आंदोलन के नायक राम प्रसाद बिस्मिल का जन्म हुआ था। उनकी वीरगाथाएँ आज भी स्वतंत्रता की मशाल को जीवित रखती हैं।
- एडविन आर्मस्ट्रांग का FM प्रसारण (1935): आधुनिक रेडियो की दिशा बदलने वाला यह तकनीकी मील का पत्थर आज ही का दिन है, जिसने भारत समेत विश्व में संचार की नई लकीरें खींचीं।
- विश्व युद्ध का प्रभाव (1940): इस दिन इटली ने माल्टा और जेनेवा पर हमले शुरू किए—द्वितीय विश्व युद्ध की भू-राजनीति में निर्णायक मोड़ों में से एक घटना।
आज हमने इन्हें खो दिया
- घनश्यामदास बिड़ला (1983): 11 जून 1983 को भारत के अर्थव्यवस्था और उद्योग जगत के अग्रणी, बी. के. खुराना बिड़ला (घनश्यामदास बिड़ला) का निधन हुआ, जिन्होंने सामाजिक सरोकारों और उद्यमिता को राष्ट्रीय पहचान दी।
- मिहिर सेन (1997): समकालीन तैराकी के मर्यादाओं को तोड़कर भारत का नाम ऊँचा किया, उनकी मृत्यु का दिन भी 11 जून को ही है।
जन्मदिन
- के. एस. हेगड़े (1909): लोकसभा अध्यक्ष और कद्दावर राजनीतिज्ञ, जे. आर. दल के नेता, का जन्म 11 जून को हुआ थाleverageedu.com।
- लालू प्रसाद यादव (1948): बिहार और देश की राजनीति में अल्टीमेट कैरिज़्म का प्रतीक बने, लालू प्रसाद यादव की भी जयंती आज ही है।
अन्य महत्वपूर्ण घटनाएं
- मागनीशियम-जेट विमान का पहला प्रक्षेपण (1955): एक नई उड़ान-युग की शुरुआत 11 जून को हुई थी, जब Magnesium Jet ने अपनी क्षमता दिखाई।
- विश्व राजनीतिगत और सामाजिक मील के पत्थर: अमेरिका की स्वतंत्र घोषणा की तैयारियों के लिए समिति की नियुक्ति (1776), लैस्ब्राजील में महिलाओं को मतदान का अधिकार (1921) जैसी घटनाएँ भी इसी दिन की शान हैं।