Monday, April 28, 2025
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चारधाम यात्रा में ई-स्वास्थ्य धाम पोर्टल से होगी श्रद्धालुओं की निगरानी, रेस्क्यू के लिए तैनात होंगे हेलीकॉप्टर

उत्तराखंड सरकार ने इस साल चारधाम यात्रा को और अधिक सुरक्षित और सुगम बनाने के लिए स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत किया है। यात्रा मार्ग पर 20 मेडिकल रिलीफ पोस्ट और 31 स्वास्थ्य जांच केंद्र स्थापित किए जाएंगे, जहां तीर्थयात्रियों की नियमित स्वास्थ्य जांच होगी। इसके अलावा, आपातकालीन सेवाओं के लिए 154 एंबुलेंस, हेलीकॉप्टर रेस्क्यू और टिहरी झील में बोट एंबुलेंस की तैनाती की जा रही है।

श्रद्धालुओं की स्वास्थ्य निगरानी के लिए सरकार पहली बार “ई-स्वास्थ्य धाम” पोर्टल शुरू कर रही है। इससे यात्रियों के स्वास्थ्य की डिजिटल ट्रैकिंग होगी और जरूरत पड़ने पर उन्हें समय पर चिकित्सा सहायता दी जा सकेगी।

केदारनाथ-बदरीनाथ में विशेष अस्पताल और विशेषज्ञ डॉक्टरों की तैनाती

स्वास्थ्य सचिव डॉ. आर. राजेश कुमार ने जानकारी दी कि इस बार केदारनाथ और बदरीनाथ में 17 और 45 बेड वाले अस्पतालों की व्यवस्था की गई है। यात्रा मार्ग पर 25 विशेषज्ञ डॉक्टरों को तैनात किया जाएगा, जिससे किसी भी मेडिकल इमरजेंसी में श्रद्धालुओं को तत्काल इलाज मिल सके।

इसके अलावा, देहरादून, हरिद्वार, पौड़ी और टिहरी में 37 स्थायी स्वास्थ्य केंद्रों को अपग्रेड किया गया है, जहां यात्रियों की प्रारंभिक जांच और आपातकालीन उपचार की सुविधा होगी।

हेलीकॉप्टर और बोट एंबुलेंस की सुविधा, हाई-रिस्क यात्रियों पर विशेष ध्यान

इस साल चारधाम यात्रा के दौरान हेलीकॉप्टर रेस्क्यू सेवा भी सक्रिय रहेगी, जिसे एम्स ऋषिकेश संचालित करेगा। यह सेवा गंभीर रूप से बीमार यात्रियों को तत्काल बड़े अस्पतालों तक पहुंचाने में मदद करेगी। टिहरी झील में पहली बार बोट एंबुलेंस की सुविधा दी जा रही है, जिससे जलमार्ग से यात्रा करने वाले श्रद्धालुओं को भी आपातकालीन चिकित्सा सेवा मिल सके।

सरकार ने इस बार “ई-स्वास्थ्य धाम” पोर्टल को यात्रा के लिए अनिवार्य कर दिया है। यात्रियों को यात्रा से पहले अपनी स्वास्थ्य जानकारी पोर्टल पर अपडेट करनी होगी, जिससे हाई-रिस्क यात्रियों की पहचान कर उन्हें विशेष चिकित्सा सहायता दी जा सके।

स्वास्थ्य मित्रों और आपातकालीन हेल्पलाइन को किया गया मजबूत

इस बार सरकार ने यात्रा मार्ग पर “स्वास्थ्य मित्रों” की संख्या बढ़ाने का निर्णय लिया है। ये प्रशिक्षित स्वास्थ्य कर्मी तीर्थयात्रियों को प्राथमिक चिकित्सा उपलब्ध कराएंगे। आपातकालीन हेल्पलाइन को भी अपग्रेड किया गया है, जिससे किसी भी आपात स्थिति में श्रद्धालुओं को त्वरित सहायता दी जा सके।

स्वास्थ्य सचिव ने बताया कि पिछले साल चारधाम यात्रा के दौरान 34,000 से अधिक मेडिकल इमरजेंसी मामले सामने आए थे, जिनमें से 1,011 मरीजों को एंबुलेंस और 90 मरीजों को हेलीकॉप्टर रेस्क्यू के जरिए बचाया गया था। इस बार इस तरह की किसी भी स्थिति से निपटने के लिए पूरी तैयारी कर ली गई है।

श्रद्धालुओं के लिए क्या हैं नए नियम?

  • यात्रा से पहले “ई-स्वास्थ्य धाम” पोर्टल पर हेल्थ डेटा अपडेट करना अनिवार्य।
  • हाई-रिस्क यात्रियों की स्क्रीनिंग होगी, ताकि उनकी सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।
  • यात्रा मार्ग पर हेल्थ प्रोफाइल अपलोड करने की सुविधा, जिससे डॉक्टर तुरंत मरीज की मेडिकल हिस्ट्री देख सकें।
  • मेडिकल रिलीफ पोस्ट और विशेषज्ञ डॉक्टरों की तैनाती से तत्काल चिकित्सा सुविधा उपलब्ध होगी।
  • हेलीकॉप्टर और बोट एंबुलेंस की सुविधा, जिससे गंभीर मरीजों को समय पर इलाज मिल सके।

सरकार की तैयारी से चारधाम यात्रा होगी सुरक्षित और सुगम

इस साल चारधाम यात्रा को और अधिक सुरक्षित और सुविधाजनक बनाने के लिए सरकार ने डिजिटल टेक्नोलॉजी और आपातकालीन सेवाओं का पूरा इस्तेमाल किया है। हेल्थ ट्रैकिंग पोर्टल, हेलीकॉप्टर रेस्क्यू, बोट एंबुलेंस, विशेषज्ञ डॉक्टरों और स्वास्थ्य मित्रों की तैनाती जैसी व्यवस्थाएं यात्रा को और सुरक्षित बनाएंगी। तीर्थयात्रियों को सलाह दी जाती है कि वे यात्रा से पहले अपनी स्वास्थ्य जांच कराएं, आवश्यक दवाएं साथ रखें और “ई-स्वास्थ्य धाम” पोर्टल पर अपनी जानकारी अपडेट करें। इससे यात्रा के दौरान किसी भी तरह की स्वास्थ्य समस्या से बचा जा सकता है।

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  • उत्तराखंड सरकार ने चारधाम यात्रा 2025 के लिए स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत किया, जिससे तीर्थयात्रियों को सुरक्षित और सुगम यात्रा अनुभव मिलेगा।
  • पहली बार “ई-स्वास्थ्य धाम पोर्टल” लॉन्च किया गया, जिससे यात्रियों की हेल्थ प्रोफाइल ट्रैक की जाएगी और हाई-रिस्क मरीजों की पहचान होगी।
  • 154 एंबुलेंस, 20 मेडिकल रिलीफ पोस्ट, 31 स्वास्थ्य जांच केंद्र और 25 विशेषज्ञ डॉक्टर तैनात किए गए हैं।
  • गंभीर मरीजों को तुरंत सहायता देने के लिए हेलीकॉप्टर और टिहरी झील में बोट एंबुलेंस सेवा शुरू की गई।
  • सरकार ने यात्रा मार्ग पर स्वास्थ्य मित्रों और इमरजेंसी हेल्पलाइन को अपग्रेड किया, जिससे तीर्थयात्रियों को त्वरित चिकित्सा सहायता मिल सके।
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